पंजाब
एक-एक करके केंद्र सरकार पंजाब के सभी फंड रोक रही है, वे नहीं चाहते कि पंजाब तरक्की करे : आप

आम आदमी पार्टी (आप) पंजाब ने पंजाब के सर्व शिक्षा अभियान (एसएसए) फंड को रोकने के लिए केंद्र की भाजपा सरकार पर तीखा हमला बोला। पार्टी ने कहा कि मोदी सरकार पहले से ही पंजाब के एनएचएम (राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन) और आरडीएफ (ग्रामीण विकास फंड) को रोक रखी है और अब उन्होंने प्राथमिक विद्यालयों में बच्चों की शिक्षा के लिए जाने वाले पैसे को भी रोक दिया है। इससे पता चलता है कि भाजपा पंजाब के विकास को रोकना चाहती है।
मंगलवार को पार्टी कार्यालय में आयोजित एक प्रेस कांफ्रेंस को संबोधित करते हुए आप प्रवक्ता नील गर्ग ने भाजपा सरकार पर पंजाब के प्रति सौतेला व्यवहार करने का आरोप लगाया और पंजाब के सभी सांसदों व भाजपा नेताओं से आग्रह किया कि वे राज्य के लंबित फंड का मुद्दा केंद्र सरकार के समक्ष उठाएं। प्रेस कांफ्रेंस में उनके साथ आप प्रवक्ता बब्बी बादल व जसमन गिल भी मौजूद थे।
नील गर्ग ने कहा कि यह बच्चों की शिक्षा व उनके भविष्य का मामला है। भाजपा का पंजाब के प्रति सौतेला व्यवहार कोई नई बात नहीं है, लेकिन सबसे शर्मनाक बात यह है कि अब वे बच्चों की शिक्षा को भी दांव पर लगा रहे हैं। गर्ग ने कहा कि भारत में संघीय ढांचा की व्यवस्था है जिसके तहत केंद्र व राज्य सरकार दोनों विकास के लिए मिलकर काम करते है, लेकिन मोदी सरकार इसके विपरीत काम कर रही है। वे राज्यों के विकास रोकने के लिए बाधाएं खड़ी करती है और राज्य सरकार के फंड रोक देती है।
आप नेता ने कहा कि मोदी सरकार ने सर्व शिक्षा अभियान के 380 करोड़ रुपये रोक दिए हैं। यह पैसा प्राथमिक स्कूलों में बच्चों की शिक्षा, उनकी किताबों और कपड़ों पर खर्च होता है। केंद्र सरकार को यह पैसा चार किस्तों में पंजाब को जारी करना था, जिसमें पहली किस्त 170 करोड़ की थी, लेकिन वे यह पैसा जारी करने से इनकार कर रहे हैं।
उन्होंने कहा कि प्राथमिक शिक्षा हर बच्चे का संवैधानिक अधिकार है। इस योजना (एसएसए) के लिए केंद्र 60% और राज्य बाकी 40% का योगदान राज्य सरकार देता है, लेकिन मोदी सरकार पंजाब के बच्चों की शिक्षा के लिए अपना हिस्सा देने से इनकार कर रही है। पंजाब में एसएसए के तहत 3929 कर्मचारी हैं। इसका असर उनके वेतन पर भी पड़ेगा।
आप प्रवक्ता ने कहा कि गरीबों के बच्चे सरकारी प्राथमिक और मिडिल स्कूलों में जाते हैं, इसलिए इस फंड को रोककर मोदी सरकार सीधे तौर पर गरीबों के बच्चों को शिक्षा से वंचित कर रही है। गर्ग ने कहा कि केंद्र सरकार ने पीएम श्री नाम से एक योजना लाई है, इसलिए वह पंजाब सरकार को अपने स्कूल ऑफ एमिनेंस स्कूलों को बंद करके इस योजना को लागू करने के लिए मजबूर कर रही हैं।
उन्होंने कहा कि दिल्ली और पंजाब की आप सरकारों ने शिक्षा और स्वास्थ्य के क्षेत्र में असाधारण और अभूतपूर्व काम किया है। हमारा शिक्षा मॉडल पहले से ही बेहतर है, तो हम अब कुछ नया लागू करने के लिए इसे खत्म क्यों करें? गर्ग ने कहा कि पंजाब की मान सरकार ने अपने पिछले बजट में स्कूल ऑफ हैप्पीनेस और स्कूल ऑफ ब्रिलिएंस की योजना की शुरुआत की है। इसके अलावा मान सरकार द्वारा बनाए गए स्कूलों में पहले से ही परिवहन, वाई-फाई, स्मार्ट क्लास, लाइब्रेरी और खेल मैदान जैसी आधुनिक सुविधाएं मौजूद हैं।
नील गर्ग ने कहा कि एसएसए से पहले मोदी सरकार पहले से ही पंजाब के दो अन्य प्रमुख फंड राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन और आरडीएफ (ग्रामीण विकास कोष) को रोके हुए है। उन्होंने कहा कि आप सरकार ने स्वास्थ्य क्षेत्र में क्रांतिकारी काम किए हैं। हमने सिर्फ दो साल में पंजाब में 829 आम आदमी क्लीनिक खोले हैं जहां 1.5 करोड़ लोगों को मुफ्त इलाज, दवाइयां, टेस्ट और जांच मिली है। लेकिन पंजाब में हमारे मोहल्ला क्लीनिकों की सफलता को देखने के बाद केंद्र सरकार ने एनएचएम के 600 करोड़ रुपये रोक दिए।
इसी तरह मोदी सरकार पंजाब में सरकारी मंडी व्यवस्था को खत्म करना चाहती है। वे आरडीएफ और एमडीएफ (मंडी विकास कोष) के 7000 करोड़ रुपये रोके हुए हैं। इस पैसे का इस्तेमाल ग्रामीण पंजाब और मंडियों में 60,000 किलोमीटर लिंक सड़कों के रखरखाव के लिए किया जाता है। आप नेता ने पंजाब के सभी सांसदों से इस मुद्दे को केंद्र सरकार के समक्ष जोरदार तरीके से उठाने का आग्रह किया। उन्होंने भाजपा पंजाब के अध्यक्ष सुनील जाखड़ से भी मांग की कि वे इस मुद्दे को अपने शीर्ष नेतृत्व के समक्ष उठाएं और बताएं कि पंजाब के साथ भेदभाव बंद करें।
गर्ग ने कहा कि पंजाब के लोगों ने भाजपा को पूरी तरह से नकार दिया है। इसलिए वे हताश होकर पंजाब के फंड रोक रहे हैं। गर्ग ने कहा कि जीएसटी के जरिए केंद्र सरकार सारा पैसा इकट्ठा करती है, लेकिन यह लोगों का पैसा है और पंजाब को अपनी राजनीतिक पसंद के बावजूद अपना हिस्सा मिलना चाहिए। पंजाब के लोग टैक्स देते हैं। इसलिए मोदी सरकार को पंजाब की शिक्षा, स्वास्थ्य और विकास के पैसे रोकने का कोई अधिकार नहीं है।

पंजाब
पंजाब पुलिस ने आतंकी मॉड्यूल का किया भंडाफोड़, 13 आतंकी गिरफ्तार

पंजाब पुलिस ने एक बड़ी कार्रवाई करते हुए सफलता हासिल की है। पंजाब पुलिस ने खुफिया जानकारी के आधार पर चलाए गए दो अभियानों में बब्बर खालसा इंटरनेशनल द्वारा विदेश से संचालित किए जा रहे आईएसआई समर्थित आतंकी मॉड्यूल का सफलतापूर्वक भंडाफोड़ किया है।
इस कार्रवाई में पुलिस को 2 आरपीजी (एक लॉन्चर सहित), 2 आईईडी (2.5 किलोग्राम प्रत्येक), डेटोनेटर के साथ 2 हथगोले, रिमोट कंट्रोल के साथ 2 किलोग्राम आरडीएक्स, 5 पिस्तौल (बेरेटा और ग्लॉक), 6 मैगजीन, 44 जिंदा कारतूस, 1 वायरलेस सेट और 3 वाहन बरामद हुए हैं।
पंजाब पुलिस के डीजीपी गौरव यादव ने इसकी जानकारी साझा की है। 2 आतंकी मॉड्यूल के कुल 13 आतंकियों को पुलिस ने गिरफ्तार किया है। जिसमें एक नाबालिग भी शामिल है।
पंजाब
हैप्पी पासिया की गिरफ्तारी से पंजाब सरकार की जीरो टॉलरेंस नीति का चलता है पता : नील गर्ग

पंजाब में एक दर्जन से अधिक ग्रेनेड हमलों की साजिश रचने वाले मोस्ट वांटेड हैप्पी पासिया को अमेरिका में गिरफ्तारी कर लिया है। वहीं, आम आदमी पार्टी के वरिष्ठ प्रवक्ता नील गर्ग ने इसे लेकर कहा कि यह पंजाब को बदनाम करने और इसकी शांति को भंग करने की कोशिश करने वालों को करारा जवाब है।
पासिया की गिरफ्तारी पंजाब सरकार की बड़ी उपलब्धि
नील गर्ग ने कहा कि पिछली सरकारें जिसे पकड़ने में विफल रहीं, उसे आप सरकार ने न केवल विस्तार से ट्रैक किया बल्कि उसे सफलतापूर्वक गिरफ्तार भी किया। उन्होंने कहा कि यह गिरफ्तारी पंजाब सरकार के लिए एक बड़ी उपलब्धि है और राज्य की कानून-व्यवस्था और शांति को अस्थिर करने की कोशिश करने वाले विघटनकारी तत्वों को एक कड़ा संदेश देती है।
गर्ग ने कहा कि पंजाब पुलिस 24×7 सतर्कता से काम करती है और ये गिरफ्तारी उनकी प्रतिबद्धता का सबूत है। जो कोई भी पंजाब को चुनौती देने की हिम्मत करेगा, उसे केवल एक ही परिणाम भुगतना होगा – जेल।
पंजाब
पंजाब में 15 हजार तालाबों की सफाई का अभियान शुरू, मंत्री सौंद ने किया जमीनी निरीक्षण

मुख्यमंत्री भगवंत सिंह मान के नेतृत्व में एक ऐतिहासिक कदम उठाते हुए, पंजाब सरकार ने राज्य भर में लगभग 15,000 गांवों के तालाबों की सफाई के लिए बड़े पैमाने पर पहल शुरू की है, जो पिछले दो से तीन दशकों में नहीं किया गया था।
बड़े स्तर पर जारी है काम
वहीं, ग्रामीण विकास और पंचायत मंत्री तरुणप्रीत सिंह सौंद ने जमीनी स्तर पर निरीक्षण भी शुरू कर दिया है। मंत्री ने कहा कि पिछली सरकारों ने 15-25 वर्षों से अधिक समय तक गांव के तालाबों की उपेक्षा की थी। उनमें से कई तालाबों में गाद जम गई थी, जिससे पानी रुक गया, बदबू फैली और मच्छर पनपने लगे, जिससे पर्यावरण और स्वास्थ्य संबंधी गंभीर चिंताएं पैदा हो गई थीं। अब सीएम भगवंत सिंह मान के निर्देशन में इस स्थिति को बदला जा रहा है। उन्होंने बताया कि कई गांवों में काम पहले से ही चल रहा है। 1062 तालाबों से पानी निकाला जा चुका है और करीब 400 तालाबों से गाद निकाली जा चुकी है।
सरकार ने गांवों के लिए 4,573 करोड़ रुपये के विकास पैकेज को मंजूरी दी
तालाबों की सफाई की प्रगति की सक्रिय निगरानी करने के निर्देश दिए गए हैं। उन्होंने कहा कि इस मिशन में किसी भी अधिकारी या कर्मचारी की लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी। यह पहल एक व्यापक ग्रामीण विकास योजना का हिस्सा है, जिसके तहत पंजाब सरकार ने हाल ही में गांवों के लिए 4,573 करोड़ रुपये के विकास पैकेज को मंजूरी दी है।
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